Posted inpoetry पिता पर कविता-“सौरभ कांत बाजपेई” पिता की याद आती है।बहुत मुझको सताती है। वही भगवान है मेरा।वही ईमान है मेरा। मुझे चलना सिखाया… Posted by Rajni Prabha October 16, 2023
Posted inArticles Short Story व्यंग्य- जगत जननी की पीड़ा-“सुधीर श्रीवास्तव” आजकल नवरात्रि चल रहा हैये तो हमें भी क्या आपको भी पता है,पर आज ही सुबह सुबह आदिशक्ति… Posted by Rajni Prabha October 16, 2023
Posted inArticles Short Story ज्ञान और समृद्धि की माता ब्रह्मचारिणी-“सत्येन्द्र कुमार पाठक” सत्येसनातन धर्म की शाक्त सम्प्रदाय के विभिन्न ग्रंथों के अनुसार माता ब्रह्मचारिणी का महत्वपूर्ण स्थान है । हिम… Posted by Rajni Prabha October 16, 2023
Posted inArticles Short Story मेरी ज़िंदगी की कहानी-“निरेन कुमार सचदेवा” पढ़ने वालों की कमी हो गयी है आज इस ज़माने में , वरना मेरी ज़िंदगी का हर पन्ना… Posted by Rajni Prabha October 16, 2023
Posted inpoetry हास्य मनहरण घनाक्षरी-“प्रतिभा जैन” बालीबुड का असरपिताजी को डेड कहे,माता अब मोम बनी,पश्चिम का दौर है। आधी रात ड्रिंक चलें,सुबह गर्ल फ्रेंड… Posted by Rajni Prabha October 14, 2023
Posted inpoetry आंखें-“प्रतिभा जैन” ये आंखें तुमसे प्यार कर बैठी,न जाने क्यों गंगा बना बैठी।बिना जाने ही तुम पर,एतबार कर बैठी।तुमने मुड… Posted by Rajni Prabha October 14, 2023
Posted inpoetry भाई-“प्रतिभा जैन” बरसों बाद खुशियों का दीदार हुआ,फिर भी मुसीबतों का ढेर नहीं हुआ।खुदा से शिकायत क्या करूं,अपनो का साथ… Posted by Rajni Prabha October 14, 2023
Posted inShort Story कहानी-“सुविधा पंडित” विधाता छन्द पर गीत भुला दूँ कुछ दिनों में ही,नहीं ऐसी कहानी हो ।सदा जीती रही जिसको, वही… Posted by Rajni Prabha October 14, 2023
Posted inghazal ग़ज़ल( हिंदी)-“हलधर” कमसिन है लाज़वाब है हिंदी की ये ग़ज़ल ।समझो नहीं खराब है हिंदी की ये ग़ज़ल । ये… Posted by Rajni Prabha October 14, 2023
Posted inpoetry एक दृष्टि-“बृजेंद्र।” सुख शांति समृद्धि चाहिएतो सुदृढ़ करो ताना बाना।हो पड़ोसी हितकर अपनाबजता बहीं आनन्द तराना।। भारत इस सुविधा से… Posted by Rajni Prabha October 14, 2023